मंजिल थका है
रख हौसला वो मंजर भी आयेगा, प्यासे के पास चल के समन्दर भी आयेगा, थक कर न बैठ ऐ मंजिल के मुसाफिर, मंजिल भी मिलेगी... और मिलने का मज़ा भी आयेगा।
जिंदगी की असली उड़ान अभी बाकी है, मंजिल के कई इम्तिहान अभी बाकी है, अभी तो नापी है मुट्ठी भर ज़मीं हमने, अभी तो सारा आसमान बाकी है।
काम करो ऐसा कि पहचान बन जाये, हर कदम ऐसा चलो कि निशान बन जाये, यहाँ ज़िन्दगी तो हर कोई काट लेता है, ज़िन्दगी जियो इस कदर कि मिसाल बन जाये।
रख हौसला वो मंजर भी आयेगा, प्यासे के पास चल के समन्दर भी आयेगा, थक कर न बैठ ऐ मंजिल के मुसाफिर, मंजिल भी मिलेगी... और मिलने का मज़ा भी आयेगा।
जिंदगी की असली उड़ान अभी बाकी है, मंजिल के कई इम्तिहान अभी बाकी है, अभी तो नापी है मुट्ठी भर ज़मीं हमने, अभी तो सारा आसमान बाकी है।
काम करो ऐसा कि पहचान बन जाये, हर कदम ऐसा चलो कि निशान बन जाये, यहाँ ज़िन्दगी तो हर कोई काट लेता है, ज़िन्दगी जियो इस कदर कि मिसाल बन जाये।
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